मन से कभी न हारो
कल का नहीं भरोसा जीना है आज यारों
डर डर के जीना छोडो डर को डरा के मारो
हँस हँस के हार सह लो तो जीत है हमारी
काली घटा घिरी तो उस पर भी रंग डारो
कल का नहीं भरोसा जीना है आज यारों
रंगीन सारी दुनिया आयाम इतने सारे
बाहर तो निकलो देखो सुन्दर सभी नज़ारे
फूलों की क्यारियाँ है काँटों की महफ़िलें हैं
फौलाद फूल बन कर आतुर तुम्हें पुकारे
राहों में धुल फैले उनपर फुहार मारो
कल का नहीं भरोसा जीना है आज यारों
आओ गले लगा लें खुशियाँ जो मिल रही हैं
स्वागत करो सभी की कलियाँ जो खिल रही है
अरमान होंगे पुरे जो भी सजाओ सपने
साहस का साथ जो मुफ्त मिल रही है
अब जीत है तुम्हारी मन से कभी न हारो
कल का नहीं भरोसा जीना है आज यारों
डर डर के जीना छोडो डर को डरा के मारो
डर डर के जीना छोडो डर को डरा के मारो
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